शिक्षक-कर्मचारियों ने पुरानी पेंशन के लिए काली पट्टी बांधकर किया काम
यूपीएस-एनपीएस को समाप्त करने के लिए आंदोलन शुरू
सहारनपुर में पुरानी पेंशन के लिए शिक्षक-कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन। संगठन अमर उजाला
लखनऊ। केंद्र सरकार की ओर से हाल ही में घोषित की गई यूनिफाइड पेंशन स्कीम (यूपीएस) को लेकर शिक्षक-कर्मचारियों का विरोध प्रदर्शन तेज हो गया है। सोमवार को देश भर में शिक्षकों-कर्मचारियों ने काली पट्टी बांधकर काम किया। साथ ही यूपीएस-एनपीएस को समाप्त कर पुरानी पेंशन बहाली की मांग की। नेशनल मूवमेंट फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम (एनएमओपीएस) के राष्ट्रीय अध्यक्ष विजय कुमार बंधु ने कहा कि सरकार पुरानी पेंशन बहाल कर कर्मचारियों व शिक्षकों को राहत दें। क्योंकि एनपीएस व यूपीएस से कर्मचारियों का भविष्य अंधकारमय हो गया है। आज के विरोध-प्रदर्शन में स्कूल-कॉलेज, डिग्री कॉलेज, विश्वविद्यालय, रेलवे
एनएमओपीएस के आह्वान पर देश भर में छह तक चलेगा अभियान
स्टेशन, बस अड्डा, सरकारी विभागों सभी जगह के कर्मचारियों ने अभियान संगठन के में हिस्सा लिया।
राष्ट्रीय महासचिव स्थित प्रज्ञ ने कहा कि पुरानी पेंशन के लिए देश भर के शिक्षक-कर्मचारी एकजुट हो गए हैं। वे ओपीएस की बहाली के लिए प्रतिबद्ध हैं। राष्ट्रीय सचिव डॉ. नीरजपति त्रिपाठी ने कहा कि शिक्षक कर्मचारी एनपीए व यूपीएस से सहमत नहीं है। यह दोनों ही छलावा है।
पुरानी पेंशन ही सामाजिक सुरक्षा की मजबूत सरकार गारंटी है। इसलिए एनपीएस-यूपीएस रद्द कर पुरानी पेंशन राष्ट्रीय बहाल करे। संगठन के प्रवक्ता डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि यह विरोध कार्यक्रम छह सितंबर तक चलेगा।
यूपीएस से रेलकर्मियों में खुशी, संघर्ष से मिली जीत
लखनऊ। ऑल इंडिया रेलवे फेडरेशन (एआईआरएफ) के महामंत्री शिवगोपाल मिश्र ने कहा कि न्यू पेंशन स्कीम (एनपीएस) के विरोध में उतरे रेलकर्मियों के लिए यूनिफाइड पेंशन स्कीम (यूपीएस) तोहफे से कम नहीं है। यह ओल्ड पेंशन स्कीम (ओपीएस) जैसा ही है। हालांकि यूपीएस में सुधार की गुंजाइश बाकी है, जिस पर अभी काम किया जाएगा। ताकि रेलकर्मियों के हितों की अनदेखी न हो सके। मिश्र सोमवार चारबाग
स्टेशन स्थित नार्दर्न रेलवे मेंस यूनियन (नरमू) के कार्यालय में लोगों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार ने यूपीएस के जरिये केंद्रीय कर्मचारियों के से हितों का ख्याल रखा है। यूपीएस करीब 23 लाख कर्मचारी लाभान्वित होंगे। इसमें आठ लाख रेलकर्मी हैं। उन्होंने कहा कि सरकार पर भरोसा है और यूपीएस में सुधार की जो गुंजाइशें हैं, उन पर बैठकर काम किया जाएगा। इसके अलावा 90 लाख राज्य सरकार के कर्मचारियों को भी यूपीएस का लाभ दिया जाना चाहिए।
मिश्र ने बताया कि दो से तीन. महीने में नियमावली बनेगी और पहली अप्रैल, 2025 से लागू किया जाएगा। इसके बाद तीन वर्ष पर इसे रिव्यू भी किया जाएगा। पेंशन के मुद्दे को लेकर पिछले काफी समय से रेलकर्मी संघर्ष करते रहे हैं, यह उनकी जीत है। उनकी मेहनत के चलते ही केंद्र सरकार ने यह निर्णय लिया है।
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